दशहरा करवा चौथ और दिवाली जैसे त्योहारों की धूम रहने वाली है
लखनऊ। अक्टूबर में व्रत त्योहार की छड़ी लगने जा रही है। अक्टूबर में एक के बाद एक कई त्योहार मनाए जाएंगे। महीने की शुरूआत सर्वपितृ अमावस्या के साथ होने जा रही है। अक्टूबर के महीने में दशहरा करवा चौथ और दिवाली जैसे त्योहारों की धूम रहने वाली है। धार्मिक दृष्टि से अक्टूबर का महीना बहुत ही महत्वपूर्ण रहने वाला है। आइए जानते हैं अक्टूबर में कुल कितने त्यौहार हैं और किस किस दिन आप यह त्योहार मना सकते हैं। देखें अक्टूबर के व्रत त्योहार की पूरी लिस्ट।
सर्वपितृ अमावस्या 2 अक्टूबर
सर्वपितृ अमावस्या आश्विन माह की कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि के दिन मनाई जाती है। इस बार सर्वपितृ अमावस्या 2 अक्टूबर को मनाई जाएगी। इस दिन पितरों का श्राद्ध करके उन्हें विदा किया जाता है। साथ ही इस दिन उन लोगों का श्राद्ध भी किया जाता है जिनका श्राद्ध हम करना भूल जाते हैं। इसी दिन साल का दूसरा सूर्यग्रहण भी लग रहा है। हालांकि, यह भारत में अदृश्य रहेगा।
शरदीय नवरात्रि 3 अक्टूबर
हिंदू पंचांग में शारदीय नवरात्रि का विशेष महत्व है। शारदीय नवरात्रि का आरंभ आश्विन मास की प्रतिपदा तिथि से होती है। इस बार शारदीय नवरात्रि 3 अक्टूबर गुरुवार के दिन से हो रही है। इन 9 दिनों में देवी के अलग-अलग स्वरूपों की पूजी की जाती है। ऐसी मान्यता है कि इन 9 दिनों देवी दुर्गा धरती पर आती हैं।
महाअष्टमी 11 और महानवमी 12 अक्टूबर
नवरात्र महाअष्टमी 11 अक्टूबर शुक्रवार और महानवमी 12 अक्टूबर शनिवार के दिन मनाई जाएगी। इस बार दोनों तिथियां एक साथ ही पड़ रही हैं। नवरात्रि में महाअष्टमी पूजा का विशेष महत्व है। दरअसल, इस दिन देवी दुर्गा ने चंड मुंड नामक दैत्यों का वध किया था। इस दिन मां दुर्गा के आठवें स्वरूप मां महागौरी की पूजा की जाती है। वहीं, महानवमी पर मां दुर्गा से महिषासुर नामक राक्षस का वध किया था और इस दिन मां दुर्गा के सिद्धिदात्री स्वरूप की पूजा की जाती है। इस दिन माता अपने भक्तों की सारी मनोकामना पूरी करती हैं।
दशहरा 12 अक्टूबर
दशहरा का पर्व इस बार 12 अक्टूबर को मनाया जाएगा। दशहरा का पर्व बुराई पर अच्छाई की जीत का पर्व है। इस दिन भगवान राम सा रावण का वध किया था। मान्यता है कि दशहरा पर रावण का वध करने से पहले भगवान राम से नौ दिनों तक देवी दुर्गा की उपासना की थी। दशहरा का त्योहार अश्विन महीने के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि के दिन दशहरा मनाया जाता है।
पापांकुशा एकादशी 13 अक्टूबर
पापांकुशा एकादशी का व्रत 13 अक्टूबर रविवार को रखा जाएगा। पापांकुशा एकादशी का व्रत आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को रखा जाता है। पापांकुशा एकादशी का व्रत करने से व्यक्ति की तीन पीढ़ियों को पापों से मुक्ति मिलती है। साथ ही इस व्रत को करने वाले व्यक्ति को यमलोक में किसी भी तरह की यातनाएं नहीं सहनी पड़ती हैं। इस दिन भगवान विष्णु की पूजा अर्चना की जाती है।
प्रदोष व्रत 15 अक्टूबर
अक्टूबर में प्रदोष व्रत 15 अक्टूबर और फिर 29 अक्टूबर को रखा जाएगा। 15 अक्टूबर को शुक्ल पक्ष का भोम प्रदोष व्रत और फिर 29 अक्टूबर को कृष्ण पक्ष का प्रदोष व्रत किया जाएगा। इस व्रत को करने से व्यक्ति को भगवान शिव और माता पार्वती की कृपाव प्राप्त होती है।
शरद पूर्णिमा 16 अक्टूबर
आश्विन माह की पूर्णिमा तिथि को शरद पूर्णिमा कहा जाता है। इस बार शरद पूर्णिमा का व्रत 16 अक्टूबर बुधवार के दिन रखा जाएगा। शरद पूर्णिमा का विशेष महत्व है। मान्यता है कि इस व्रत को करने से शरद पूर्णिमा के दिन व्रत रखने से धन और वैभव की प्राप्ति होती है। इस दिन चंद्रमा अपनी 16 कलाओं से परिपूर्ण रहता है। इस दिन चंद्रमा की रोशनी सभी दिशाओं में फैलती है।
करवा चौथ व्रत 20 अक्टूबर
करवा चौथ का व्रत महिलाएं अपनी पति की लंबी आयु के लिए रखती हैं। इस बार करवा चौथ का व्रत 20 अक्टूबर रविवार के दिन रखा जाएगा। इस व्रत को करने से महिलाओं को अखंड सौभाग्य की प्राप्ति तो होती ही है साथ ही पति के सारे संकट दूर हो जाते हैं।
अहोई अष्टमी व्रत 24 अक्टूबर
अहोई अष्टमी तिथि का व्रत कार्तिक महीने की कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि के दिन रखा जाता है। इस बार यह व्रत 24 अक्टूबर को है। यह व्रत माताएं अपनी संतान की लंबी उम्र और उसकी खुशहाली के लिए रखती हैं। इस दिना माता पार्वती की पूजा अर्चना की जाती है।
धनतेरस 29 अक्टूबर
धनतेरस का पर्व इस बार 29 अक्टूबर मंगलवार के दिन मनाया जाएगा। बता दें कि धनतेरस के दिन भगवान धनवंतरी समुद्र मंथन के दौरान हाथों में अमृत से भरा स्वर्ण कलश लेकर प्रकट हुए थे। इस दिन सोना,चांदी, बर्तन की खरीदारी करना शुभ माना जाता है।
छोटी दिवाली 30 अक्टूबर
कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को छोटी दिवाली मनाई जाती है। जिसे नरक चतुर्दशी भी कहते हैं। साथ ही इस दिन हनुमान जयंती भी मनाई जाती है। इस बार छोटी दिवाली और हनुमान जयंती का पर्व 30 अक्टूबर बुधवार के दिन मनाया जाएगा।
दिवाली 31 अक्टूबर
इस बार दिवाली को लेकर बहुत ही कंफ्यूजन बना हुआ है। बता दें कि दिवाली का पर्व कार्तिक माह की अमावस्या तिथि के दिन मनाया जाता है। अलग-अलग पंचांग की गणना के अनुसार, सर्वसम्मत रूप से दिवाली का पर्व 31 अक्टूबर को ही मनाया जाएगा। दरअसल, 1 नवंबर और 31 अक्टूबर को लेकर कंफ्यूजन बना हुआ है। लेकिन, पंचांग के अनुसार, 31 अक्टूबर को ही दिवाली मनाई जाएगी।